Kanhar Barrage project: झारखंड हाई कोर्ट ने राज्य सरकार से पूछा है कि प्रस्तावित कनहर बराज प्रोजेक्ट के लिए बजट आवंटित किया गया है या नहीं। कोर्ट ने मौखिक कहा की पलामू एवं गढ़वा सूखाग्रस्त इलाके हैं। कनहर प्रोजेक्ट को जल्द पूरा करें, ताकि किसानों के खेतों को पानी मिल सके।
साेमवार काे सुनवाई के दौरान राज्य सरकार की ओर से अपर महाधिवक्ता सचिन कुमार ने शपथ पत्र दायर कर कोर्ट को बताया कि कनहर बराज प्रोजेक्ट के लिए जमीन अधिग्रहण में 18 माह का समय लगेगा। इसके बाद बराज निर्माण पूरा होने में पांच साल का समय लगेगा।
कोर्ट ने राज्य सरकार से जानना चाहा कि कनहर बराज के लिए 18 माह की जमीन अधिग्रहण एवं पांच साल का निर्माण पूरा होने की अवधि कब से मानी जाएगी, इसे स्पष्ट करें।
कोर्ट ने राज्य सरकार द्वारा कहनर प्रोजेक्ट के लिए जमीन अधिग्रहण के लिए 18 माह एवं निर्माण पूरा करने के लिए पांच साल के संबंध में दिए गए शपथ पत्र पर असंतुष्ट की जताई और कहा कि इससे पहले भी राज्य सरकार ने अपने शपथ पत्र में यही बातें कही थी। कोर्ट ने कहा कि यह प्रोजेक्ट वर्ष 2004 में शुरू हुआ था, जो अब तक लंबित है। कनहर प्रोजेक्ट को जल्द से जल्द पूरा किया जाना चाहिए।
राज्य सरकार द्वारा कोर्ट को यह भी बताया गया कि कनहर बराज निर्माण को लेकर फॉरेस्ट क्लियरेंस जल्द करने को लेकर केंद्र सरकार से झारखंड के मुख्य सचिव ने फिर से पत्राचार भी किया है।
गढ़वा, पलामू के लोगों को पानी उपलब्ध करने के लिए कनहर बराज बनवाने का आग्रह करते हुए हाई कोर्ट में विधायक भानु प्रताप शाही की ओर से जनहित याचिका दाखिल की गई है।