रविन्द्र तिवारी ने बताया क्यों अटक गया गढ़वा में NH-75 का काम

इस पर अवैध तरीके से कब्रिस्तान बना लिया गया है। इससे इस NH पर 600 मीटर का काम बाधित है

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रांची: नेशनल रोड सेफ्टी काउंसिल (NRSC) सदस्य रविंद्र तिवारी (Ravindra Tiwari) ने कहा कि राष्ट्रीय राजमार्ग-75 (NH-75) का काम गढ़वा में 90 फीसदी तक पूरा हो चुका है।

शेष काम अब इसलिए अटक गया है क्योंकि राज्य सरकार (State Government) एक विशेष समुदाय को खुश करने में लग गयी है। राज्य सरकार को विकास के प्रति न्यायपूर्ण होना चाहिए।

उन्होंने कहा कि जिले के अचला नावाडीह (Nawadih) गांव में खाता संख्या-114, 88 (प्लॉट सं 139,47) में रकबा 1.85 एकड़ और 0.58 एकड़ जमीन गैर मजरूआ है।

इस पर अवैध तरीके से कब्रिस्तान बना लिया गया है। इससे इस NH पर 600 मीटर का काम बाधित है।

मार्च 2023 में इसे जनता को किया जाना था समर्पित

तिवारी रांची के कडरु (Kadru) स्थित पर्ल रिजेंसी होटल (Pearl Regency Hotel) में मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस (Press Conference) में बोल रहे थे।

उन्होंने कहा कि पेयजल एवं स्वच्छता मंत्री मिथिलेश कुमार ठाकुर ने पिछले दिनों नई दिल्ली जाकर सड़क, परिवहन मंत्री नितिन गडकरी से भेंट कर कब्रिस्तान जमीन पर फ्लाईओवर (Flyover) बनाने की मांग की है जो नाजायज और प्रावधान के विपरीत है।

इस एनएच का शिलान्यास प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी (PM Narendra Modi) ने 12 जुलाई 2022 को देवघर से किया था। मार्च 2023 में इसे जनता को समर्पित किया जाना था।

लेकिन राज्य सरकार की तुष्टिकरण नीति के कारण इसमें अब अडंगा लग रहा है। इन मसलों को लेकर सड़क परिवहन मंत्री (केंद्र) को लेटर लिखकर शिकायत भी कर दी गयी है।

बिहार, UP, MP एवं छत्तीसगढ़ आने-जाने में मिलेगी मदद

तिवारी ने कहा कि गढवा में NH-75 का काम पूरा होने से शहर को जाम से मुक्ति मिलेगी। इससे बिहार, UP, मध्य प्रदेश (MP) एवं छत्तीसगढ़ आने-जाने में मदद मिलेगी।

परियोजना में लगभग 90 प्रतिशत काम पूरा हो चुका है। भूमि की अनुपलब्धता के कारण 22.30 किमी लंबे राजमार्ग में मात्र 1.700 किमी के कार्य पर ग्रहण लगा हुआ है।

गढ़वा में जिस कब्रिस्तान के चलते मामला फंसा है, उसके लिए गढवा सीओ कार्यालय ने अभिलेखों की जांच में पाया था कि कब्रिस्तान अवैध रूप से गैर मजरूआ भूमि पर अवस्थित है। इस पर दफनाने के लिए बंदोबस्ती का कोई रिकॉर्ड नहीं है।

किसी कारण से कोई कार्रवाई नहीं और DC भी बदल दिये

CO ने अतिक्रमण हटाने को छह मार्च 2019 को आदेश भी जारी किया था। इसके बाद सड़क निर्माण का विरोध करने वाले झारखंड हाई कोर्ट (Jharkhand High Court) गये।

11 दिसंबर 2020 को मामला जब हाई कोर्ट के सामने आया तो याचिकाकर्ता के पास कोई भी सबूत या दस्तावेज नहीं था। इसके बाद याचिका वापस ले ली गयी थी।

गढ़वा DC ने 26 दिसंबर 2022 को भूमि को अतिक्रमण मुक्त कराने की पहल की। 15 जनवरी तक इस पर काम पूरा करते हुए रोड निर्माण के कार्य को प्रारंभ कराना था। पर इस पर किसी कारण से कोई कार्रवाई नहीं हुई और DC भी बदल दिये गये।