रांची: AJSU पार्टी के केंद्रीय अध्यक्ष सुदेश महतो (Sudesh Mahto) ने कहा कि शहीदों की शहादत से युवा पीढ़ी को प्रेरणा लेने की जरुरत है। साथ ही राज्य को नई दिशा देने में सकारात्मक भूमिका अदा करें।
उन्होंने कहा कि आज़ादी के बड़े आंदोलनों में से एक हूल क्रांति (Hool Revolution) के महानायक सिदो-कान्हू, चांद-भैरव, फूलो-झानो के उद्देश्यों को राज्य सहित पूरे देश के लोगों को आत्मसात करने की जरूरत है।
सिदो-कान्हू को श्रद्धांजलि अर्पित
उनके विचारों को वर्तमान परिप्रेक्ष्य (Current Perspective) में मूल्यांकन कर अमर शहीदों की गाथा को उच्चतम स्तर पर ले जाने का प्रयास जारी है। इस लड़ाई के बारे में देश के हर नागरिक को विस्तार से जानने और समझने की आवश्यकता है।
महतो शुक्रवार को रांची स्थित सिदो-कान्हू पार्क में संथाल हूल के महानायक सिदो-कान्हू (Sido-Kanhu) को श्रद्धांजलि अर्पित करने के बाद बोल रहे थे।
उन्होंने कहा कि उस समय के ऐसे कई स्वतंत्रता सेनानी हैं, जिन्हें अभी तक उचित सम्मान नहीं मिल पाया है। उन्होंने कहा कि सालों के त्याग, बलिदान, तपस्या और अनगिनत शहादतों के बाद हमें झारखंड अलग राज्य मिला।
संताल हूल के महानायकों को किया नमन
लेकिन अलग राज्य आंदोलन की लड़ाई के पीछे जो मुद्दे थे, जो सोच थी, जो सपने थे-क्या वो पूर्ण हुए? क्या हम उन वीर योद्धाओं के सपनों का झारखंड बना पाए? यह चिंतन करने का वक्त है।
हूल दिवस के अवसर पर पार्टी के वरीय उपाध्यक्ष और गिरिडीह लोकसभा सांसद चन्द्रप्रकाश चौधरी (Chandra Prakash Chowdhary) ने रामगढ में, उपाध्यक्ष और पूर्व मंत्री उमाकांत रजक ने चंदनकियारी में, प्रधान महासचिव और पूर्व मंत्री रामचंद्र सहिस (Ramchandra Sahis) ने घाटशीला में संताल हूल के महानायकों को नमन किया।