नई दिल्ली: दिल्ली के राऊज एवेन्यू कोर्ट ने चीनी नागरिकों को वीजा दिलवाने के एवज में रिश्वत लेने के मामले में पी चिदंबरम के पुत्र कार्ति चिदंबरम (Karti Chidambaram) की अग्रिम जमानत याचिका पर फैसला सुरक्षित रख लिया है। स्पेशल जज एमके नागपाल ने 3 जून को फैसला सुनाने का आदेश दिया।
कोर्ट ने 26 मई को कार्ति चिदंबरम की गिरफ्तारी पर रोक लगा दी थी। कार्ति की ओर से वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने कहा था कि प्रथम दृष्टया कोई तथ्य ऐसा नहीं है, जिससे पता चले कि वो इन आरोपों में लिप्त था। सीबीआई के सर्च अभियान में कोई भी पुख्ता सबूत नहीं मिले हैं।
चीनी वीजा के लिए रिश्वत के रूप में एस भास्कर रमन को दी थी
सीबीआई के मुताबिक 14 मई को पी चिदंबरम के आवास पर तलाशी के बाद मामला दर्ज किया गया था। सुनवाई के दौरान सीबीआई ने कहा कि अभी कार्ति की गिरफ्तारी की कोई जरूरत नहीं है।
हालांकि अगर गिरफ्तारी की जरूरत पड़ी तो वो 48 घंटे का नोटिस देगी। इस पर कोर्ट ने एजेंसी को तीन दिन पहले कार्ति को नोटिस देने का निर्देश दिया।
सीबीआई के मुताबिक तलवंडी साबो पावर लिमिटेड (टीएसपीएल) ने बेल टूल्स लिमिटेड को 50 लाख की राशि का भुगतान किया, जिसने इसे चीनी वीजा के लिए रिश्वत के रूप में एस भास्कर रमन को दी थी।