नई दिल्ली: बीते साल कृषि कानूनों के खिलाफ जारी हुआ किसान आंदोलन अब भी जारी है। किसान दिल्ली की सीमाओं पर अड़े हैं।
इस बीच आरोप लग रहे हैं कि किसानों के समूह में रहने के चलते कोरोना का संक्रमण बढ़ रहा है। ऐसे में किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा कि- किसान अपने घर पर हैं।
हम उन्हें और कहाँ जाने के लिए कहेंगे? क्या यहां से कोरोना फैल रहा है? हम पिछले 5 महीनों से यहां रह रहे हैं, यह अब हमारा घर है।
कई किसानों ने टीका लगवा लिया लेकिन दूसरी खुराक पाने के लिए संघर्ष कर रहे हैं। हमने अधिकारियों को यहां शिविर लगाने के लिए कहा है।
हाल में हुई इफ्तार पार्टी के वीडियो को लेकर पूछे गए सवाल पर टिकैत ने कहा कि लोग एक-दूसरे से दूरी पर बैठे थे।
सरकार द्वारा 50 लोगों की अनुमति दी गई थी लेकिन 22-35 लोग ही थे। कोई भी एक-दूसरे से नहीं मिल रहा था, न ही हाथ मिल रहा था।
टिकैत ने कहा कि किसानों की घर वापसी तीनों कृषि कानून वापस होने तक नहीं होगी। आंदोलन को तेज करने के लिए गांव-गांव में तैयारी चल रही है और जैसे ही इन मोर्चों पर उपस्थिति बढ़ेगी, वैसे ही आगे की योजना घोषित की जाएगी।
भाकियू नेता ने चेताया कि सरकार दोबारा किसान आंदोलन समाप्त करने की तैयारी ना करे अन्यथा किसान पूरी तरह तैयार हैं।
कोरोना के फैलने के डर के बारे में बोलते हुए उन्होंने कहा कि सारे किसान कोरोना की सुरक्षा के दायित्वों का पालन कर रहे हैं, हम उसकी व्यवस्था भी कर रहे हैं।
अगर यहां से किसान हट भी जाएं तब भी तो अपने ही गांव में रहेंगे। कोरोना तो देश से नहीं भागेगा।
कोरोना तो अब आ गया है और इसके डर से किसान आंदोलन को नहीं हटाया जा सकता। इलाज के लिए सरकार को व्यवस्था करनी चाहिए।