नई दिल्ली: एमनेस्टी इंटरनेशनल इंडिया (Amnesty International India) के पूर्व प्रमुख आकार पटेल ने दिल्ली की राऊज एवेन्यू कोर्ट में सीबीआई के खिलाफ अवमानना याचिका दायर किया है।
आकार पटेल ने कहा है कि उनके खिलाफ जारी लुकआउट सर्कुलर नोटिस को वापस लेने के आदेश का पालन नहीं किया गया है।
याचिका में कहा गया है कि जिस समय कोर्ट लुकआउट सर्कुलर नोटिस वापस लेने का आदेश जारी कर रही थी उस समय जांच अधिकारी हिमांशु बहुगुणा भी कोर्ट में उपस्थित थे।
उन्होंने कहा कि कोर्ट के आदेश के बाद जब वो कल रात में फ्लाइट पकड़ने गए तो उन्हें उसी लुकआउट सर्कुलर नोटिस के आधार पर रोक दिया गया।
यहां तक कि जांच अधिकारी ने अपना फोन भी स्विच ऑफ कर लिया। जांच अधिकारी का यह रवैया मौलिक अधिकार का उल्लंघन है।
बता दें कि 7 अप्रैल को कोर्ट ने सीबीआई के निदेशक को निर्देश दिया था कि पटेल के खिलाफ लुकआउट सर्कुलर जारी करने में अधीनस्थ अधिकारियों ने गलती की है और इसलिए सीबीआई निदेशक इसका हवाला देते हुए लिखित रूप से माफी मांगें।
कोर्ट ने कहा था कि लुकआउट सर्कुलर जारी करने के अधिकार का मनमाना तरीके से उपयोग नहीं किया जाना चाहिए। इसके पीछे कोई ठोस वजह होनी चाहिए।
कोर्ट ने सीबीआई निदेशक से उम्मीद जताई कि वो उन अधीनस्थ अधिकारियों को इसके लिए संवेदनशील बनाएं जिन्होंने लुकआउट सर्कुलर जारी किया था।
उन्हें पासपोर्ट देने का आदेश दिया था
साथ ही उन अधिकारियों की जिम्मेदारी भी तय होनी चाहिए। कोर्ट ने कहा कि याचिकाकर्ता के वकील ने अपने नुकसान के लिए मुआवजे की मांग की है। इसके लिए वे सक्षम अदालत में जा सकते हैं।
कोर्ट ने अपने आदेश में सीबीआई को निर्देश दिया कि आकार पटेल के खिलाफ जारी लुकआउट सर्कुलर नोटिस को तत्काल वापस लें। 6 अप्रैल को कोर्ट ने सीबीआई को नोटिस जारी किया था।
आकार पटेल ने सीबीआई की ओर से जारी लुकआउट सर्कुलर को चुनौती दी थी। याचिका में आकार पटेल ने 30 मई तक अमेरिका की यात्रा पर जाने की इजाजत मांगी थी।
याचिका में कहा गया था कि पटेल को अमेरिका में कुछ लेक्चर देना है। वो 6 अप्रैल को अमेरिका की फ्लाईट पकड़ने जा रहे थे तो उन्हें बेंगलुरु हवाई अड्डे पर रोक दिया गया।
पटेल के खिलाफ सूरत की निचली अदालत में एक बीजेपी विधायक पूर्णेशभाई ईश्वरभाई मोदी ने शिकायत कर रखी है।
19 फरवरी को सूरत की कोर्ट ने आकार पटेल को विदेश जाने की इजाजत देते हुए पासपोर्ट देने का आदेश दिया था।
रकम की भरपाई जांच अधिकारी की सैलरी से कराने की मांग की थी
सीबीआई ने एमनेस्टी इंटरनेशनल इंडिया के खिलाफ एफसीआरए के प्रावधानों का उल्लंघन करने पर आकर पटेल के खिलाफ लुकआउट सर्कुलर नोटिस जारी किया था।
याचिका पर सुनवाई के दौरान पटेल की ओर से वकील तनवीर अहमद मीर ने पत्रकार राणा अय्यूब के खिलाफ जारी लुकआउट सर्कुलर नोटिस को हाईकोर्ट की ओर से निरस्त करने के फैसले का हवाला दिया था।
उन्होंने कहा था कि जांच अधिकारी ने पटेल को लुकआउट सर्कुलर जारी करने की सूचना नहीं दी थी जिसकी वजह से पटेल को तीन लाख 80 हजार रुपये का नुकसान हुआ।
उन्होंने नुकसान हुए इस रकम की भरपाई जांच अधिकारी की सैलरी से कराने की मांग की थी। मीर ने कहा था कि नागरिकों के अधिकारों का इस प्रकार हनन नहीं किया जा सकता है।